अंडमान: 572 द्वीपों के इस स्वर्ग में ये हैं घूमने की 5 सबसे बेस्ट डेस्टिनेशन
Lorem Ipsum is simply dummy text of the printing and typesetting industry. Lorem Ipsum has been the industry’s standard
Ashish Rai
हिन्द महासागर में स्थित अंडमान निकोबार द्वीप समूह में कुल 572 द्वीप हैं। इनमें से केवल 38 में ही लोग रहते हैं। समुद्र से नज़दीकी की बात करें, तो अंडमान भारत के बजाय दक्षिण पूर्व एशिया से ज्यादा करीब हैं। अंडमान के द्वीप अपने खूबसूरत समुद्र तटों, कुदरती दिलकशी, अनछुए जंगलों, दुर्लभ समुद्री जीवों और मूंगे की चट्टानों के लिए मशहूर हैं। अंडमान का एक द्वीप रॉस आईलैंड, जिसे अब नेताजी सुभाष चंद्र बोस आईलैंड के नाम से जाना जाता है। यहां पर उन्नीसवीं सदी के ब्रिटिश राज के खंडहर भी मौजूद हैं। नए साल के सेलिब्रेशन के लिए अंडमान और निकोबार आईलैंड बेस्ट डेस्टिनेशन है। हम आपको इस शांत और सुंदर आईलैंड के पांच ऐसे स्पॉट्स और एक्टिविटीज के बारे में बताने जा रहे हैं जो आपकी छुट्टियों को और भी हैपनिंग बना देंगे।
- राधा नगर बीच
- नाईट कायाकिंग
- सेलुलर जेल
- चिड़िया टापू
- स्कूबा डाइविंग
राधा नगर बीच

अंडमान-निकोबार के हैवलॉक आईलैंड का राधानगर बीच अमेरिकन ट्रैवल वेबसाइट ट्रिप अडवाइजर्स के हिसाब से दुनिया का आठवां सबसे खूबसूरत बीच है। इसे बीच नंबर 7 भी कहा जाता है। यह अपने खूबसूरत सनसेट, सफेद रेत और फिरोजी नीले रंग के पानी के लिए मशहूर है। यह हनीमून कपल्स के लिए बेस्ट रोमांटिक डेस्टिनेशन भी है। अगर आप इसकी असली खूबसूरती को देखना चाहते हैं तो आपको मॉनसून का समय सबसे बेस्ट होता है। यहां कई बीच फेसिंग रिजॉर्ट हैं। सैलानियों के लिए राधानगर बीच पर स्नोर्कलिंग, फिसिंग गेम, स्वीमिंग और स्कूबा डाईविंग आदि की सुविधा भी उपलब्ध है। अकेले सफर करने वालों के लिए भी यह बीच सबसे अच्छा है।
नाईट कायाकिंग

अंडमान सागर में सूरज अस्त होने के बाद घने हैवलॉक द्वीप के घने मैंग्रोव जंगलों और अंडमान सागर के शांत बैकवाटर पर कायाकिंग का मजा देश में सिर्फ यहां मिलता है। अगर आप स्विमिंग नहीं जानते हैं तो कायाकिंग (नौकायान) के जरिए समुद्र के बीच में एन्जॉय कर सकते हैं। कायाकिंग में अपर बॉडी का सबसे ज्यादा इस्तेमाल होता है। यहां सबसे लोकप्रिय कयाकिंग संचालकों में ‘तनाज़ नोबल’ है। एक ट्रिप में 10-15 मिनट तक आप घने मैंग्रोव में काया किंग का मजा ले सकते हैं।
सेलुलर जेल

सेलुलर जेल को काला पानी के नाम से भी जाना जाता है। यह जेल भारत के आज़ादी के लिए संघर्ष के सबसे प्रसिद्ध अवशेषों में से एक है। इसके निर्माण में इस्तेमाल की गई ईंटें बर्मा से आयात की गईं थी। हर शाम को यहां रोशनी और ध्वनि के माध्यम से एक कार्यक्रम आयोजित किया जाता है जिसमें इस जेल के इतिहास के बारे में बताया जाता है। इस जेल में आप वह कोठरी देख सकते हैं जहां वीर सावरकर को रखा गया था। सेल्यूलर जेल और जेल संग्रहालय को देखने के लिए आपको 30-50 रुपये का टिकट लेना होता है।
चिड़िया टापू

चिड़िया टापू को ‘सनसेट प्वाइंट’ और ‘बर्ड आईलैंड’ के नाम से भी जाना जाता है। प्रकृति प्रेमियों के लिए आदर्श यह स्थान पोर्ट ब्लेयर से लगभग 18 किमी की दूरी पर स्थित है। पोर्ट ब्लेयर से चिड़िया टापू के लिए नियमित बस सेवाएं उपलब्ध हैं। बर्डवॉचिंग के अलावा यह स्थान अपने पिकनिक स्पॉट, ट्रेकिंग ट्रेल्स और शानदार सूर्यास्त के लिए भी प्रसिद्ध है। अपनी समृद्ध और विविध वनस्पतियों और जीवों के कारण यह टापू एक जैविक उद्यान के रूप में जाना जाता है जिसे पर्यटकों को अवश्य देखना चाहिए। यह स्थान अपने 46 प्रजातियों के स्थानिक प्रजातियों के लिए भी प्रसिद्ध है। सफेद धब्बेदार हिरण और मौसमी ऑर्किड आपको सबसे ज्यादा लुभाएंगे।
स्कूबा डाइविंग

साफ नीले पानी में मरीन लाइफ यानि समुद्री जीवन को समझने और देखने के लिए अंडमान में स्कूबा डाइविंग से शानदार और सुविधाजनक तरीका और कोई नहीं है। यहां आप लुभावनी रंगीन और विविध समुद्री जीवों से भरे समुद्री ब्रह्मांड को जान सकते हैं। यहां स्थित डिक्सन पिनैकल जो हैवलॉक आईलैंड के पास है सबसे प्रसिद्ध डाइविंग साइट है। यहां डाइविंग का हाइयेस्ट पिनैकल 18 मीटर है और करीब 36 मीटर तक डाइविंग की जा सकती है। यहां का नजदीकी एयरपोर्ट पोर्ट ब्लेयर है और यहां स्कूबा डाइविंग का सबसे अच्छा समय दिसंबर और मई का महीना है।
बेकल किला

17वीं सदी में बना बेकल का किला समुद्र के किनारे सीना ताने अभी भी पूरी शान से खड़ा है। इससे जुड़ी कई कहानिया प्रसिद्ध हैं। किले के आसपास स्थित बीच पर रोमांटिक पल बिताना अपने आप में ही काफी खास है। यह बीच अच्छी तरह से संरक्षित और साफ सुथरा है। शाम के समय सूर्यास्त का शानदार नजारा और रात के समय नाइट लाइटिंग यहां पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित करती है। यहां कई बेहतरीन रिजॉर्ट भी हैं।
बाइक राइडिंग

कैसे पहुंचें केरल
Recent Blogs

Why Should Grandmothers Only Go On Pilgrimages?

